Turkey: तुर्की के अधिकारियों ने कहा कि उत्तरी तुर्की में एक कोयला खदान के अंदर विस्फोट हो गया है. जिसमें कम से कम 25 लोगों की मौत हो गई. जबकि बचाव दल खदान के अंदर फंसे दर्जनों अन्य लोगों को बचाने की कोशिश कर रहे हैं.
Turkey के कोयला खदान में हुआ विस्फोट
Dawn से मिली जानकारी के मुताबिक, तुर्की (Turkey) के कोयला की खदान में विस्फोट शुक्रवार को काला सागर प्रांत बार्टिन के अमासरा शहर में सरकारी टीटीके अमासरा मुसेसे मुदुर्लुगु खदान (Muessese Mudurlugu mine) में हुआ है. स्वास्थ्य मंत्री फहार्टिन कोका ने कहा कि 11 लोगों को बचा लिया गया है और उनका इलाज चल रहा है. विस्फोट के समय खदान में करीब 110 लोग काम कर रहे थे.
स्वास्थ्य मंत्री फहार्टिन कोका का अधिकारिक ट्वीट…
4 Sahra Acil Müdahale Merkezi, 51 AMBULANS, 168 Ambulans personeli, 15 UMKE Timi, 67 UMKE personeli, göçük alanında dönüşümlü çalışan 22 görevli, bunlara ilave 44 çalışma arkadaşı… Ve sizin yüreğiniz Bartın’da. pic.twitter.com/0YaaiBxxZe
— Dr. Fahrettin Koca (@drfahrettinkoca) October 15, 2022
ऊर्जा मंत्री फातिह डोनमेज़ ने कहा कि कोयला खदानों में पाए जाने वाली ज्वलनशील गैसों की वजह से ब्लास्ट हुआ है. आंतरिक मंत्री सुलेमान सोयलू ने मीडिया को बताया की, विस्फोट के समय खदान में 110 लोग थे. विस्फोट के बाद ज्यादातर श्रमिक बाहर निकलने में सफल रहे, लेकिन 49 लोग अधिक जोखिम वाले क्षेत्र में फंस गए.
तुर्की (Turkey) की आपदा प्रबंधन एजेंसी AFAD ने कहा कि पड़ोसी शहरों सहित क्षेत्र में कई बचाव दल भेजे गए हैं. तुर्की (Turkey) के राष्ट्रपति रेसेप तईप एर्दोगन ने कहा कि वह अपनी अन्य सभी यात्राओं को रद्द कर देंगे और शनिवार को दुर्घटनास्थल के लिए उड़ान भरेंगे.
तुर्की के राष्ट्रपति ने किया ट्वीट
तुर्की (Turkey) के राष्ट्रपति रेसेप एर्दोगन ने एक ट्वीट में कहा, “हमारी उम्मीद है कि जानमाल का नुकसान और नहीं बढ़ेगा. हमारे खनिक (miners) जिंदा पाए जाएंगे.” बार्टिन गवर्नर के कार्यालय ने कहा कि विस्फोट लगभग 15:15 GMT पर खदान के प्रवेश द्वार से 300 मीटर नीचे हुआ है.

टेलीविजन के माध्यम से देखा जा सकता है की लोग किस तरह से डरे और सहमे हुए हैं. कोयला खदान में ब्लास्ट के बाद से लोगों में एक डर का माहौल है. हालाँकि, स्थाई सरकार हर मुमकिन कोशिश कर रही है. इससे पहले, तुर्की के मैडेन-इस माइनिंग वर्कर्स यूनियन ने ब्लास्ट के लिए मीथेन गैस को ज़िम्मेदार ठहराया था.
साल 2014 में भी कोयला खदान में हुआ था भयंकर ब्लास्ट
साल 2014 में भी तुर्की में भयंकर ब्लास्ट हुआ था. जिसमें 301 खनिक (खदान में काम करने वाले लोग) मारे गए थे. सबसे बड़ी घटना वर्ष 2014 वाली ही मानी जाती है. तब एक कोयला खदान में आग लगने की वजह से उसके अंदर काम कर रहे 301 कर्मचारी जलकर मारे गए थे.
बता दें की, यह ब्लास्ट साल 2014 में पश्चिमी तुर्की के सोमा शहर में हुआ था. बताया जाता है की, 800 खनिकों की एक टीम फंस गई थी. जिसमें से 301 लोगो की तो मौत ही हो गई थी. निरीक्षण रिपोर्टों में कहा गया है कि कोयला 13 मई की आपदा से पहले के दिनों से सुलग रहा था. जिससे जहरीली गैसें निकल रही थीं.
ब्लास्ट के बाद हुई जांच में पाया गया की, कार्बन मोनोऑक्साइड डिटेक्टरों की कमी, खराब स्थिति में गैस मास्क और खराब वेंटिलेशन शामिल है. पीड़ितों के परिवारों के वकीलों का कहना था कि सोमा खदान के मालिकों ने अपने लाभ के लिए हम लोग का शोषण किया है. हमारी जान खतरे में डाली है.